गुरूवार, अप्रैल 24, 2025

औरंगजेब समाधि विवाद को लेकर नागपुर में हिंसा, लगा कुछ हिस्सों में कर्फ्यू

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नागपुर में औरंगजेब की समाधि को लेकर विरोध प्रदर्शन के दौरान कुछ अफवाहें फैल जाने से 17 मार्च को हिंसा फैल गई। जिससे स्थिति की गंभीरता को देखते हुए कुछ हिस्सों में कर्फ्यू लगा दिया गया। महाराष्ट्र के सीएम देवेन्द्र फणनवीस ने भी लोगों से अपील की है की शांति-व्यवस्था बनाए रखने के लिए शासन का सहयोग करें। औरगंजेब की समाधि जो की औरंगाबाद जिसे अब संभाजी नगर के नाम से जाना जाता है, में स्थित है। 

नागपुर हिंसा भड़कने की क्या थी वजह –

विश्व हिन्दू परिषद और बजरंग दल के समर्थकों ने कल महल इलाके में शिवाजी की प्रतिमा के पास एकत्रित हुए। वे औरंगजेब की समाधि को महाराष्ट्र से हटाने की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे थे। इसके अलावा इन्होंने प्रतीकात्मक रूप से हरी कब्र बनाकर उसे जलाया। जिससे एक अफवाह फैल गई की पवित्र पुस्तक कुरान जलाई गई। मुस्लिमों में आक्रोश पैदा हो गया और तनाव की स्थिति पैदा हो गई। जिसकी रिपोर्ट शाम को गणेशपेठ पुलिस स्टेशन में लिखवाई भी गई।

भीड़ को हटाने के लिए पुलिस ने लाठीचार्ज किया और आँसू गैस के गोले भी छोड़े। पुलिस पर पथराव की वजह से कई पुलिस वालों को चोट भी आई। शहर के पुलिस आयुक्त रविंदर कुमार सिंघल ने बताया की स्थिति फिलहाल नियंत्रण में है। यह हिंसा पहले तो महल के चिटनिस पार्क में उत्पन्न हुई, उसके बाद यह बेगमपेठ तक फैल गई। भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163 के अनुसार कोतवाली, गणेशपेठ, लकड़गंज पचपावली, शांतिनगर, सक्करदरा,इमामबाड़ा, नंदनवन यशोधरा नगर और कपिलवस्तु क्षेत्र में कर्फ्यू लगा दिया गया है। 

पुलिस आयुक्त के अनुसार, “पचास से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इसके अलावा, हम लोगों को संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और शांति भंग करने जैसी हिंसात्मक गतिविधियां करते हुए सीसीटीवी और सोशल मीडिया पोस्टों पर पकड़ रहे हैं।” उन्होंने साथ ही बताया की जब वहाँ प्रदर्शन हुआ तो पुलिस मौजूद थी जिससे 33 पुलिस कर्मियों की भी चोटें आयी। साथ ही कई लोगों को हिरासत में लिया जा चूका है। शहर में धारा 144 लगा दिया गया है तथा लोगों को अनावश्यक रूप से बाहर निकलने के लिए मना भी किया गया है। सीसीटीवी और विडियों पर ध्यान रखा जा रहा ताकि अनावश्यक तत्वों पर कार्रवाई की जा सके।  

हमारी दूसरी पोस्ट देखिए प्रयागराज कवियों एवं लेखकों का साहित्य में योगदान से संबंधित –

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